
भारत में जियो की सर्विस लॉन्च होने के साथ ही खलबली मच गई थी और आशा की जा रही थी कि बदलाव आएगा और अब बदलाव दिखने लगा है। कुछ माह पहले ही खबर आई थी कि वोडाफोन और आइडिया का विलय हो जाएगा और आज इस विलय की घोषणा अधिकारिक रूप से कर दी गई है। एक प्रेस विज्ञप्ति जारी कर कंपनी ने यह जानकारी दी है। इस मर्ज के बाद वोडाफोन आइडिया देश की सबसे बड़ी टेलीकॉम कंपनी बन गई है।
इस मर्जर के बाद वोडफोन अपने हिस्सेदारी का 4.1 फीसदी आइडिया को बेचेगी। इसके साथ ही नई कपंनी में आइडिया की हिस्सेदारी 26 फीसदी की होगी जबकि 45.1 फीसदी हिस्सेदारी वोडाफोन के पास रहेगी। हालांकि डील में यह बात स्पष्ट तौर पर कहा गया है अगले चार सालों तक वोडफोन अपनी और भी हिस्सेदारी कर कम कर सकता है और आईडिया हिस्सेदारी ले सकता है लेकिन यह इतना नहीं आइडिया की हिस्सेदारी वोडाफोन से ज्यादा नहीं होगी।
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वहीं आइडिया वोडाफोन के विलय के बाद कुछ और भी बदलाव होंगे जैसे वोडाफोन इंडिया खत्म हो जाएगा और सिर्फ वोडाफोन रह जाएगा। हालांकि अब यह तय नहीं है कि वोडाफोन और आइडिया के मर्जर के बाद नई कंपनी का नाम क्या होगा।
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आइडिया और वोडाफोन विलय के बाद यह देश की सबसे बड़ी टेलीकॉम कंपनी बन गई है। कंपनी के पासा 400 मिलियन से भी ज्यादा का उपभोक्ता आधार हो गया है। वहीं कुल बाजार के 35 फीसदी हिस्सेदारी पर आइडिया वोडाफोन का कब्जा होगा जबकि रेवेन्यू के आधार पर यसह 41 फीसदी का होगा।


















